मुली की खेती मे रखे 10 बातो का ध्यान | Radish Farming
मूली मे विटामिन बी 6, कैल्शियम, कॉपर, मैग्नीश्यिम और रिबोफलेविन मुख्यत पाये जते है ओर इसमें एसकॉर्बिक एसिड, फॉलिक एसिड और पोटाश्यिम भी भरपूर मात्रा में होता है।
मूली के अच्छी पैदावार के लिए 10-15 सेंटीग्रेड का तापमान आवश्यक है। यदि तापमान 25 सेंटीग्रेड से अधिक हो जाता है, तो पत्तियों की संख्या आवश्यकता से अधिक बढ़ जाती है और मूली कड़वी और कठोर हो जाती है। मुली की खेती मे रखे 10 बातो का ध्यान । Radish Farming

मुली की खेती योग्य भुमी
रेतीले दोमट और भुरभुरी मिट्टी आवश्यक है इससे मुली की जडो मे विकास अच्छा होता है ।
मुली की खेती योग्य जलवायु
मुली की फसल रबी की फसल होती है, मध्य सितंबर-अक्तूबर एंव तापमान 18-25°C एंव वर्षा 100-225cm कि आवश्यकता होती है ।
मुली की खेती योग्य खाद
गोबर की खाद (गली हुई ) 4-5 टन/एकड़ पूरी मात्रा जुताई के समय खेत मे डाले एंव नाट्रोजन, फास्फोरस, सुपर फास्फेट, पोटैशियम खेत कि आवश्यक्ता अनुसार डाले ।
मुली की खेती योग्य उन्नत किस्मे
पूसा देशी, पूसा चेतकी, पुसा हिमानी,हिमानी,अरका निसांत, रेपिड रेड,जापानी व्हाईट , पालम ह्रदय आदि मुली की प्रमुख किस्मे है ।
मुली की खेती के लिये सिंचाई
मुली की खेती के लिये भुमी मे नमी आवश्यक है ओर सर्दियो मे 10 से 15 दिनो के अंतराल मे सिंचाई करे ।
मुली की खेती मे बीज दर
मुली की खेती मे 4 से 5 kg/एकड काफी होता है ओर अच्छी पैदावार के खेत मे मेड बना लेवे । मेड़ों की दूरी- 30-45 cm,बीज की गहराई- 1.5 cm होनी चाहिये ।
खरपतवार नियंत्रण
खरपतवार नियंत्रण के लिये समय समय पर निराई गुडाई करते रहे या बुवाई से पहले पेंडीमेथलीन 30 EC का 1200 मिली लीटर/एकड़ मे छिडकाव करे
मुली की खेती मे रोग एंव निवारण
मुली की खेती मे मुख्यत जड गलन रोग आता है जिसके निवारण के लिये किसान बुवाई से पहले बाविस्टिन या थिरम से बीज को उपचारित कर ले
जमीन की तैयारी
मुली की खेती करने के लिये किसान भाई खेत की हल सेअच्छी तरह से जुताई ओर जुताई के पाटा फेरे ओर गोबर की सडी हुई खाद भुमी मे मिला दे ।
मुली की फसल की कटाई
मुली की खेती मे फसल की कटाई हाथो से उखाड कर कि जाती है बिजाई के 26 -60 दिनो के बाद कटाई कि जाती है फिर जडो को साफ कर बाजार मे बेचने के लिये तैयार
किसान साथी ध्यान दे
किसान साथियो से निवेदन है कि आपके लिये उपर लिखी जानकारी हमने बहुत जगह से अच्छी तरह पुछ्ताछ कर के प्राप्त कि फिर भी आप अपने नजदीकी कृषि केंद्र से सम्पर्क जरुर करे आपको ओर भी अच्छी जानकारी प्राप्त होगी ।
धन्यवाद ।